‘अभी बहुत टाइम है, पहले थोड़ा चैटिंग कर लिया जाये, फिर काम होगा। आज मूड नहीं है, थोड़ा आराम कर लेता हूं, कल से काम शुरू करूंगा। अभी तो प्रोजेक्ट की डेडलाइन में बहुत समय है, अभी से क्यों अपना दिमाग खराब करूं, बाद में देखा जायेगा।’ क्या आपने कभी इस तरह के बहाने बनाये है, खुद से? यदि हां, तो काम को टालने या लेटलतीफी की आदत आपको जीवन में आगे नहीं बढ़ने देगी, इसलिये ज़रूरी है कि अपनी इस आदत को सुधार लीजिये।
काम को छोटे टुकड़ों में बांटे
अक्सर लोग काम को इसलिये टालते रहते हैं क्योंकि वह उन्हें जटिल लगता है। ऐसे में यदि काम को छोटे-छोटे टुकड़ों में बांट दिया जाये, जैसे एक काम को कई हिस्सों में बांटना और फिर एक-एक करके उसे पूरा करना, तो यह काम को आसान बना देता है और वही काम आपको आसान लगने लगेगा। फिर आप सोचेंगे कि अरे! यह तो सिंपल है, क्यों न इसे आज ही खत्म कर दिया जाये।
माहौल बदले
हम जिस माहौल में रहते हैं उसका भी हमारे मूड पर बहुत असर पड़ता है, इसलिये यह देख लें कि आपके ऑफिस या घर का माहौल क्या प्रेरक है या फिर वो आपको और आलसी बना रहा है। यदि ऑफिस की चेयर पर बैठते ही या घर में आपको काम करने का मन नहीं करता तो ज़रूरी है कि पहले आप वहां का माहौल बदलें। इसके लिए लाइटिंग से लेकर डेकोरेटिव आइटम्स तक सब बदलने की ज़रूरत है।
काम की समय सीमा तय कीजिये
किसी काम की एक डेडलाइन तय करने की बजाय उसे टुकड़ों में बांटकर एक-एक हिस्से के लिए अलग-अलग समय सीमा तय करें। दरअसल सिर्फ एक ही डेडलाइन रखने पर अक्सर लोग सोचते हैं अभी तो बहुत समय है और जैसे ही डेडलाइन पास आती है घबरा जाते हैं और हड़बड़ी में काम खराब कर बैठते हैं।
प्रेरित करने वाले दोस्तों से बात कीजिये
दोस्त तो आपके बहुत होंगे, लेकिन दिन में कम से कम 10-15 मिनट ऐसे दोस्त से बात करें, जो आपको लक्ष्य प्राप्ति के लिए प्रेरित करे, न कि ऐसे दोस्त से जो आपको और आलसी बनाये।
एक्शन लें
सिर्फ प्लानिंग करने से कुछ नहीं होगा, काम पर अमल करना भी बहुत ज़रूरी है। इसलिये अब समय है कि आप अपनी सभी प्लानिंग और स्ट्रैटिजी को अमली जामा पहनायें।
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