भारत की चारों दिशाओं में पश्चिम दिशा मुख्य रूप से अपने गौरवशाली इतिहास के लिये जानी जाती है। भारत के पश्चिमी हिस्से में कई ऐसे राज्य हैं, जो भारत के इतिहास के साथ – साथ उसकी संस्कृति, सभ्यता और रीति – रिवाजों को पारंपरिक रुप से संभाल रहे हैं। आइये जानते हैं पश्चिम भारत में क्या खास है –
गुजरात
असल में यह वह भूमि है 700 और 800 साल गुज्जरों द्वारा शासित थी। इसे गुज्जरों की भूमि कहा जाता था। गुजरा जाति के कारण इस राज्य का नाम गुजरात पड़ा है। भारत के पश्चिमी तटों में सबसे पहला नाम गुजरात का आता है। गुजरात में सोमनाथ, पावागढ़, अंबाजी भद्रेश्वर और गिरनार जैसे धार्मिक स्थलों के अलावा महात्मा गांधी की जन्मभूमि पोरबंदर और अहमदाबाद जैसी जगहें भी हैं। यहां गिर राष्ट्रीय उद्यान दुनिया में शुद्ध एशियाई शेरों को देखने के लिए एकमात्र जगह है। गुजरात में रानी की वाव, चंपानेर-पावगढ़ पुरातत्व पार्क, जुनागढ़ के महलों, महाबत मकबरा जैसी कुछ अन्य खूबसूरत जगहों को भी देखा जा सकता है।
रंगीन त्योहार और हस्तशिल्प भारत के इस हिस्से की उदार परंपराओं को दर्शाते हैं। इतना ही नहीं गुजरात में आपको धार्मिक स्थल भी देखने को मिलेंगे, जिसमें भगवान कृष्ण की नगरी द्वारका है। प्राचीन इतिहास की खोज करने वाले इतिहासकारों के अनुसार द्वारका विष्णु का सबसे रहस्यमय शहर है। इस शहर पर अभी भी शोध जारी है। कई द्वारों का शहर होने के कारण इसका नाम ‘द्वारका’ पड़ा।
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महाराष्ट्र
इस नाम के साथ कई किस्म के मत जुड़े हुए हैं। एक मत यह भी है कि महाराष्ट्र संस्कृत शब्द से लिया गया है। ‘महा’ मतबल महान और ‘राष्ट्र’ मतलब देश यानी महान देश। महाराष्ट्र को ऐसे ही महान राज्य नहीं कहते, यहां आपको हर जाति, संस्कृति के लोग दिख जायेंगे। जितनी अलग -अलग वेशभूषा उतनी ही बोली। यह कई प्राचीन किलों, महलों, गुफाओं, मंदिरों और कई प्राकृतिक टूरिस्ट जगहों से भरपूर है।
अजंता और एलोरा गुफाएं भारत के महाराष्ट्र राज्य में औरंगाबाद शहर के पास है, जो भारत की सबसे प्राचीन रॉक-कट गुफाओं में से एक है। अजंता और एलोरा गुफाएं महाराष्ट्र में सबसे ज़्यादा घूमने जाने वाले टूरिस्ट जगहों में से एक है। सुंदर मूर्तियों और चित्रों के साथ सजा अजंता और अलोरा की गुफाएं बौद्ध, जैन और हिंदू स्मारकों का मेल है। अजंता और एलोरा की गुफाएं यूनेस्को की विश्व धरोहर जगहों की लिस्ट में शामिल किया गया है।
अगर आप खाने के शौकीन है, तो मुंबई आपके लिए सबसे बेहतरीन जगह है। यहां के लोकल स्ट्रीट फूड वड़ा पाव, पाव भाजी, दही पुरी, पानी पुरी और काला खट्टा जैसी चीज़ें आपको एक यादगार स्वाद देंगी।
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गोवा
अब तक ठीक से यह नहीं कहा जा सकता है कि इस शहर को ‘गोवा’ नाम कैसे मिला। ये कहा जाता है कि यह शब्द संस्कृत से लिया गया है। जिसमें ‘गो’ का अर्थ गाय होता है। कुछ लोगों की मान्यता है कि गोआ यूरोपीय या पुर्तगाली शब्द है।
नारियल के पेड़ और समुद्र के पानी पर पड़ने वाली सूरज की रोशनी के मनमोहक नज़ारे गोवा के खूबसूरती में चार चांद लगा देती है। गोवा की खूबसूरती केवल यहां के सागर तटों तक ही सीमित नहीं है। यहां सेंट फ्रांसिस ऑफ असीसी, होली स्पिरिट, पिलर सेमिनरी, आदि यहां के महत्वपूर्ण ऐतिहासिक चर्च है। गोवा के पवित्र मंदिर श्री कामाक्षी, सप्तकेटेश्विर, श्री शांतादुर्ग, महालसा नारायणी और महालक्ष्मी आदि दर्शनीय है। पणजी, वास्को दा गामा, मारगांव, पोंडा, ओल्ड गोवा, बेनॉलिम, दूधसागर झरने गोवा के प्रमुख टूरिस्ट जगह है।
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